Nobel Prize Winners List: History, Categories & Indian Laureates (1901–2024)
Nobel Prize: शुरुआत और महत्व
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स्थापना और उद्देश्य
Nobel Prize की बुनियाद आल्फ्रेड बर्नहार्ड नोबेल (Alfred Bernhard Nobel) की वसीयत पर है। उन्होंने अपनी संपत्ति से ये पुरस्कार स्थापित किए ताकि “मानवता को सबसे अधिक लाभ पहुँचाने वाले लोगों” को सम्मानित किया जाए। -
कब से शुरू हुआ
पहला Nobel Prize 1901 में दिया गया। यह Nobel की मृत्यु से पांच साल बाद की तिथि थी। -
क्षेत्र / श्रेणियाँ (Fields / Categories)
Alfred Nobel ने वसीयत में पाँच क्षेत्र निर्धारित किए:-
Physics (भौतिकी)
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Chemistry (रसायन विज्ञान)
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Physiology or Medicine (जीव विज्ञान / चिकित्सा)
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Literature (साहित्य)
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Peace (शांति)
बाद में एक और श्रेणी जोड़ी गई:
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Economic Sciences (अर्थशास्त्र) — यह पुरस्कार Sveriges Riksbank (स्वीडिश बैंक) द्वारा स्थापित किया गया था 1968 में, Alfred Nobel की याद में। यह पहले पाँच में से नहीं थी, लेकिन अब Nobel आयोजन में शामिल की जाती है।
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अन्य तथ्य
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पुरस्कार हर साल 10 दिसंबर को दिया जाता है, नोबेल की मृत्यु की सालगिरह पर।
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कुछ वर्षों में कुछ श्रेणियों में पुरस्कार नहीं दिया गया, जब विजेता योग्य नहीं माना गया।
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अब तक (2024) कुल 627 पुरस्कारों दी जा चुकी हैं विभिन्न व्यक्तियों और संगठनों को, और कुल 1,012 लोग/संस्थाएँ इन्हें प्राप्त कर चुकी हैं।
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विशेष विजेता और उदाहरण
यहाँ कुछ खास Nobel विजेताओं की जानकारी:
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Marie Curie — उन्होंने दो अलग-अलग श्रेणियों में पुरस्कार जीता: Physics (1903) और Chemistry (1911)।
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John Bardeen — Physics में दो बार (1956 और 1972) पुरस्कार पाए।
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Linus Pauling — Chemistry और Peace श्रेणी में (1954, 1962)।
भारतियों (Indian Nobel Laureates): पूरी सूची और विवरण
भारत या भारतीय मूल के लोग जो Nobel पुरस्कार प्राप्त कर चुके हैं, उनकी सूची और उनके योगदान नीचे है:
क्रम संख्या | नाम | वर्ष | श्रेणी | भारतीय नागरिक या मूल | कारण / योगदान |
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1 | Rabindranath Tagore | 1913 | साहित्य (Literature) | भारतीय नागरिक | “Gitanjali” (गीतांजलि) काव्य संग्रह के लिए, बंगाली साहित्य में मानवता, आध्यात्मिकता और सौंदर्य का भाव जगाने के लिए। |
2 | C. V. Raman (Sir Chandrasekhara Venkata Raman) | 1930 | भौतिकी (Physics) | भारतीय नागरिक | “Raman Effect” की खोज — प्रकाश के स्कैटरिंग (प्रकाश की बिखराव) की प्रक्रिया की व्याख्या करने के लिए। |
3 | Har Gobind Khorana | 1968 | चिकित्सा/फिजियोलॉजी (Physiology / Medicine) | भारतीय मूल (बाद में अन्य देश के नागरिक भी) | Genetic code की संरचना की व्याख्या, यह दिखाने में कि न्यूक्लियोटाइड्स किस तरह प्रोटीन उत्पादन को नियंत्रित करते हैं। |
4 | Mother Teresa | 1979 | शांति (Peace) | भारतीय नागरिक (हालाँकि जन्म विदेश में हुआ) | गरीबों, बीमारों और असहाय लोगों की सेवा के लिए, मानवता की सेवा। |
5 | Subrahmanyan Chandrasekhar | 1983 | भौतिकी (Physics) | भारतीय मूल | Stellar structure एवं सितारों के जीवन-चक्र की थ्योरी में योगदान, “Chandrasekhar limit” का सिद्धांत। |
6 | Amartya Sen | 1998 | अर्थशास्त्र (Economic Sciences) | भारतीय नागरिक | Welfare economics, भुखमरी, गरीबी एवं सामाजिक न्याय से जुड़े आर्थिक सिद्धांतों पर काम। |
7 | Venkatraman Ramakrishnan | 2009 | Chemistry | भारतीय मूल | Ribosome की संरचना और कार्य, आणविक क्रिस्टलोग्राफी (macromolecular crystallography) के क्षेत्र में योगदान। |
8 | Kailash Satyarthi | 2014 | शांति (Peace) | भारतीय नागरिक | बच्चों के अधिकारों, बाल-श्रम के खिलाफ काम, शिक्षा एवं बच्चों की रक्षा के लिए संघर्ष। |
9 | Abhijit Banerjee | 2019 | अर्थशास्त्र (Economic Sciences) | भारतीय मूल | गरीबी और विकास-नीति पर “दुनिया की गरीबी कम करने के लिए नवाचारी तरीकों” पर काम के लिए। |
नोट: कुछ Indian Nobel Laureates जन्म भारतीय क्षेत्र में हुए लेकिन बाद में दूसरी राष्ट्रीयता लिए; कुछ भारत में ही नागरिक रहें जब पुरस्कार मिला।
भारतियों की प्रेरणादायक कहानियाँ / विशेष विवरण
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Rabindranath Tagore
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जन्म: 7 मई 1861, कोलकाता, बंगाल प्रेसीडेंसी (ब्रिटिश भारत)
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मुख्य कृति: Gitanjali (गीतांजलि) — उनकी कविताएँ अंग्रेजी अनुवादित इस तरह से विश्वभर में प्रशंसित हुईं कि उन्हें साहित्य में Nobel Prize मिला।
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C. V. Raman
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जन्म: 7 नवंबर 1888, तंज़ानिया में जन्म लेकिन भारत में बड़े हुए।
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“Raman Effect” की खोज, जिससे पता चला कि किसी पारदर्शी सामग्री में से गुजरती हुई प्रकाश की तरंगें किस तरह बिखरती हैं, और इससे प्रकाश की प्रकृति पर नए वैज्ञानिक अध्ययनों की राह खुली।
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Har Gobind Khorana
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जन्म: 9 जनवरी 1922, बादलाना, पंजाब, ब्रिटिश भारत (अब पाकिस्तान में)
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उनपर अवलंबित शोध से यह समझने में मदद मिली कि कोशिका में कैसे DNA / RNA कोड प्रोटीन निर्माण के लिए निर्देश देते हैं।
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Mother Teresa
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जन्म: 26 अगस्त 1910, स्कोप्जे (अब मैसेडोनिया) में, बाद में भारत में सेवा की।
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समर्पित जीवन गरीबों, रोगियों, अनाथों की सेवा में लगा, Kolkata में Missionaries of Charity की स्थापना की।
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Subrahmanyan Chandrasekhar
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जन्म: 19 अक्टूबर 1910, लैहोरे, ब्रिटिश भारत; बाद में अमेरिका में काम किया।
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उनकी खोजों ने यह बताने में मदद की कि बड़े सितारों के नाभिक कैसे गहराते हैं और किस तरह के सितारों के पतन से ब्लैक होल बनते हैं। Chandrasekhar limit इसी सिद्धांत से जुड़ा है।
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Amartya Sen
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जन्म: 3 नवंबर 1933, चिंतामणि, आधुनिक पश्चिम बंगाल, भारत।
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उनके आर्थिक सिद्धांतों ने यह दिखाया कि विकास केवल GDP बढ़ाने तक सीमित नहीं है, बल्कि सामाजिक न्याय, स्वतंत्रता, शिक्षा आदि कितने महत्वपूर्ण हैं।
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Venkatraman Ramakrishnan
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जन्म: 1952, तमिलनाडु, भारत।
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उनके शोध ने Ribosome (प्रोटीन निर्माण के “फैक्टरी” की तरह काम करने वाले अंश) की संरचना को विस्तार से समझाया, जो कि जीवन के मूल जैव-रासायनिक प्रक्रियाओं को समझने के लिए बहुत महत्वपूर्ण है।
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Kailash Satyarthi
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जन्म: 11 जनवरी 1954, भारत।
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बाल-श्रम, बच्चों के अधिकार, शिक्षा की उपलब्धि आदि के लिए सतत संघर्ष किया; विशेष रूप से 2014 में संयुक्त रूप से Nobel शांति पुरस्कार मिला।
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Abhijit Banerjee
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जन्म: 21 फरवरी 1961, मुंबई, भारत।
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उनको 2019 में अर्थशास्त्र का Nobel Prize मिला “गरीबी कम करने के उपायों पर प्रयोग और नीति-निर्माण” में उनके योगदान के लिए।
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